देहरादून: उत्तराखंड में नशीले पदार्थों के बढ़ते खतरे पर लगाम लगाने के लिए, मुख्य सचिव श्री आनन्द बर्द्धन ने आज सचिवालय में एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। स्टेट लेवल नारकोटिक्स को-ऑर्डिनेशन (NCORD) की इस महत्वपूर्ण बैठक में, उन्होंने सभी जिलाधिकारियों और संबंधित अधिकारियों को ड्रग्स के खिलाफ सख्त कदम उठाने के निर्देश दिए।
मुख्य सचिव ने सभी जनपदों द्वारा की गई अब तक की कार्यवाही की समीक्षा की और जिलाधिकारियों को निर्देश दिया कि वे अपने-अपने क्षेत्रों में जिला स्तरीय NCORD बैठकों को हर महीने नियमित रूप से आयोजित करें। उन्होंने कहा कि ड्रग्स के खिलाफ चल रही लड़ाई में विभिन्न विभागों के बीच समन्वय बेहद ज़रूरी है। इसी के तहत, उन्होंने विशेष सचिव गृह से सभी एंटी-ड्रग समितियों और नोडल अधिकारियों की सूची भी साझा करने को कहा।
बैठक के दौरान, श्री बर्द्धन ने नशा मुक्ति केंद्रों को सरकारी स्तर पर संचालित करने और ड्रग्स के खिलाफ लगातार जागरूकता कार्यक्रम चलाने पर ज़ोर दिया। उन्होंने नारकोटिक्स रूट मैप पर एक विशेष अभियान चलाने का निर्देश दिया, ताकि ड्रग्स की तस्करी के रास्तों को बाधित किया जा सके। इसके अलावा, उन्होंने स्कूलों और संभावित नशा प्रभावित क्षेत्रों में सीसीटीवी कैमरे लगाने को कहा, जहाँ इस तरह की गतिविधियाँ ज़्यादा होती हैं।
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मुख्य सचिव ने पुलिस अधिकारियों को ऐसे मामलों में लगातार गिरफ्तारियाँ करने और केस दर्ज करने का निर्देश दिया। उन्होंने स्पष्ट किया कि ड्रग्स की गतिविधियों में शामिल लोगों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने विशेष रूप से देहरादून के एसपी को एंटी-ड्रग्स के तहत प्रभावी कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
श्री बर्द्धन ने PITNDPS एक्ट के तहत मामलों को मजबूती से तैयार करने पर भी बल दिया और सभी संबंधित एजेंसियों को नेटवर्क की पहचान करने के लिए मिलकर काम करने की आवश्यकता पर ज़ोर दिया।
इस बैठक में सचिव गृह श्री शैलेश बगौली, डॉ. आर. राजेश कुमार, एडीजी जेल श्री अभिनव कुमार, एडीजी डॉ. वी. मुरुगेशन, आईजी नीलेश आनंद भरणे, अपर सचिव गृह श्रीमती निवेदिता कुकरेती और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।